बाड़मेर/asonews
निजी शिक्षण संस्थान संघ बाड़मेर की जिला एवं शहर कार्यकारिणी की बैठक आदर्श विद्या मंदिर के प्रांगण में आयोजित हुई। बैठक में लोकडाउन के चलते दो वर्षों से बंद निजी शिक्षण संस्थानों की शिक्षण व्यवस्था पर चिंता व्यक्त करते हुए सरकार से जल्दी विद्यालय खोलने के लिए प्रस्ताव पारित किया गया। संघ के जिला महामंत्री प्रेमाराम भादू ने बताया कि दो वर्षों की कोरोना समयावधि में शायद राजस्थान में कोई भी स्कूल विद्यार्थी कोरोना से संक्रमित नहीं हुआ। इसके उपरांत भी सरकार द्वारा विद्यार्थियों को दो वर्षों से शिक्षा से वंचित रखना दुर्भाग्यपूर्ण एवं निंदनीय है। 
बैठक में सरकार के निजी विद्यालयों के प्रति नकारात्मक रवैये के विरोध में निंदा प्रस्ताव पारित किया गया। बैठक में चर्चा करते हुए संघ के जिला अध्यक्ष बाल सिंह राठौड़ ने बताया कि सरकार जानबूझकर समय समय पर तुगलकी फरमान जारी कर निजी विद्यालयों को अनावश्यक परेशान कर रही है। विद्यार्थी प्रोत्साहन योजनाओं व छात्रवृतियों में भी निजी व सरकारी विद्यार्थियों में भेदभाव कर रही है। जैसे निजी विद्यालयोंके के ओनलाइन पोर्टल को अपनी मनमर्जी से लोक कर दिया जाता है जबकि सरकारी पोर्टल शाला दर्पण सत्र पर्यन्त खुला रहता है। सरकार द्वारा विद्यार्थी प्रोत्साहन के लिए चलाई जा रही योजनाओं व छात्रवृतियों का लाभ भी  निजी विद्यालयों में अध्ययनरत विद्यार्थियों को नहीं मिलता सिर्फ सरकारी विद्यालयों में अध्ययनरत विद्यार्थियों को ही दिया जाना सरकार की भेदभाव पूर्ण नीति का एक प्रतीक है। हाल ही में शिक्षा निर्देशक द्वारा विद्यार्थी प्रवेश के लिए स्थानान्तरण प्रमाण पत्र की अनिवार्यता को समाप्त करने का आदेश विभागीय नियमों की खुली अवहेलना है, जिसे तुरंत प्रभाव से वापस लिया जाना चाहिए।
संघ के जिला प्रवक्ता लखदान चारण  ने बताया कि बैठक में विद्या भारती के राजस्थान संगठन मंत्री  शिवप्रसाद, जोधपुर प्रान्त के गंगा विष्णु विश्नोई, बाड़मेर जिला के प्रभारी पूनम पालीवाल, संघ के वरिष्ठ उपाध्यक्ष ठाकराराम सारण, कोषाध्यक्ष जीवराज शर्मा, जिला मंत्री हरीश मूढ़, बाड़मेर ग्रामीण ब्लॉक अध्यक्ष राजाराम मेघवाल के अतिरिक्त बाड़मेर शहर व जिला कार्यकारिणी के सदस्य उपस्थित रहे।

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