डूंगरपुर जिले की कांकरी डूंगरी पहाड़ी पर जनजाति वर्ग के अभ्यार्थियाें की ओर से डाले गए महापड़ाव जैसी तैयारी बांसवाड़ा जिले में भी थी। जिला मुख्यालय से करीब 25 किलोमीटर दूर दाहाेद मार्ग पर स्थित भाेयण घाटी मेें यह महापड़ाव प्रस्तावित था। कुशलगढ़ विधायक रमीला खड़िया के कुछ नजदीकी लाेगाें ने 13 सितंबर काे इस संबंध में फेसबुक पर पाेस्टर डाल आंदाेलन की जानकारी दी थी। पाेस्टर में लिखा था समाज की प्रमुख मांगाें काे लेकर महापड़ाव डाला है।
समस्त साथी पधारें -भाेयन घाटी पहाड़ी, मिशन 1167, हमारा हक, महापड़ाव समस्त आदिवासी समाज। उल्लेखनीय है कि पिछले दिनाें विधायक रमीला खड़िया ने कांकरी डूंगरी पहाड़ी पर पंहुच आंदाेलनकारी अभ्यार्थियाें की मांगाें काे अपना समर्थन दिया था। सोशल मीडिया पर 15 सितंबर काे इस संबंध में भी पाेस्ट डाली गई है। जिसमें कहा गया है कि कुशलगढ़ विधायक रमीला खड़िया ने कांकरी डूंगरी पर पहुंच कर आंदाेलन कर रहे अभ्यार्थियाें का समर्थन किया।
इसी प्रकार यदि हमारे सभी जनप्रतिनिधि इस काम के लिए एक हाे गए ताे जीत निश्चित ही हमारी हाेगी। विधायक महाेदया काे आभार। इस पाेस्ट के साथ काकरी डूंगरी पर माैजूद विधायक रमीला खड़िया का फाेटाे भी डाला गया है। बांसवाड़ा जिला प्रशासन काे भी इस बारे में सूचना थी। प्रशासन ने अपने स्तर पर यहां के जनप्रतिनिधियाें आदि के संपर्क मेें रहे भाेयण घाटी पर महापड़ाव जैसी स्थिति नहीं आने दी।
वहीं, ऐहतियात के ताैर पर सज्जनगढ़ आदि स्थानाें पर पर्याप्त पुलिस बल तैनात कर दिया। कलेक्टर अंकित कुमार सिंह ने अधिकारियों के बीच आपसी समन्वय के लिए जिला परिषद के एसीइओ राजकुमार सिंह शेखावत की जिम्मेदारी साैंप दी।

क्षेत्र में लगातार राउंड ले कर स्थिति पर निगाह रखे हुए हैं। अब भाेयण घाटी में महापड़ाव की गुंजाइश नहीं है। आंदाेलनकारियों के समर्थकाें ने पिछले दिनाें एसडीएम काे ज्ञापन दिया था। इसके बाद उनके जनप्रतिनिधियाें आदि से चर्चा कर इस क्षेत्र में आंदाेलन शुरू नहीं करने के लिए समझाइश की गई थी। उन्हाेंने प्रशासन की बात स्वीकार करते हुए भाेयण घाटी पर महापड़ाव नहीं करने की बात मान ली थी। अंकित कुमार सिंह, कलेक्टर, बांसवाड़ा
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