आयु, बल, बुद्धि, वीर्य, तेज एवं ओज बढ़ाता है सूर्य नमस्कार- योग सेवक दिलीप कुमार तिवाडी



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जो प्रतिदिन सूर्य नमस्कार का अभ्यास करते है उनमें आयु ,बल ,बुद्धि, वीर्य, तेज एवम ओज बढ़ता है। अकाल मृत्यु नहीं होती है ।सभी व्याधियों का नाश होता है,सूर्य नमस्कार एक संपूर्ण व्यायाम है, इससे रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है,सकारात्मक भाव उत्पन्न होते हैं उक्त उदगार योग सेवक दिलीप कुमार तिवाडी ने 75 करोड़ सूर्य नमस्कार के महाअभियान में योग सेवक तिवाड़ी परिवार द्वारा 18 वे चरण में बाड़मेर से 30 किलोमीटर की दूरी पर स्थित तारातरा मठ में सूर्य नमस्कार का अभ्यास करते हुए कहे। सूर्य नमस्कार का अभ्यास साथ में करते हुए संत रामपुरी महाराज ने कहा कि इस तारातरा मठ की स्थापना संत जेतपुरी महाराज की कृपा से हुई थी।कालांतर में संत धर्मपुरी महाराज और मालाणी के महादेव के नाम से प्रसिद्ध सिद्धस्त संत मोहन पुरी महाराज की भी यह मठ तपस्थली रही है और इन सभी की यहां जीवित समाधि भी स्थित है।


वर्तमान में संत प्रताप पुरी महाराज के मार्गदर्शन एवं आशीर्वाद से यह मठ संचालित हो रहा है। संत राम पुरी महाराज ने योग सेवक तिवाडी परिवार द्वारा जो 21 बाड़मेर की अलग-अलग स्थानों पर सूर्य नमस्कार करने का संकल्प लिया है उसकी भूरी भूरी प्रशंसा करते हुए कहा कि निस्वार्थ भाव से स्वास्थ्य के प्रति लोगों को जागरूक करने का आपने जो बीड़ा उठाया है वह प्रेरणादायक है। ऐसी तपस्थली भूमि पर सूर्य नमस्कार करने से शरीर में ऊर्जा कई गुना बढ़ जाती है। योग सेविका दुर्गा तिवाडी ने अंत में कहा कि सूर्य समस्त ब्रह्मांड का मित्र है इससे पृथ्वी समेत सभी ग्रहों के अस्तित्व के लिए आवश्यक असीम प्रकाश, ताप तथा ऊर्जा प्राप्त होती है।


जिस प्रकार से सूर्य ब्रह्मांड के सभी कण कण में अपनी उर्जा को व्याप्त करता है। ठीक उसी प्रकार सूर्य नमस्कार के अभ्यास से हमारे शरीर के अंदर भी सूर्य के समान सभी गुण विद्यमान हो जाते हैं,आवश्यकता है निरंतर अभ्यास करने की।कार्यक्रम में प्रमोद गुप्ता,हितेन तिवाड़ी,नियति तिवाड़ी आदि उपस्थित थे।

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