कोरोना के साथ-साथ पिछले डेढ़ माह से जिले के लोग टिडि्डयों का सामना भी कर रहे हैं। आठ मई से 28 जून तक जिले की अलग-अलग तहसील क्षेत्रों में एक दर्जन से अधिक टिड्‌डी दलों ने दस्तक दी और करीब 12830 हैक्टेयर क्षेत्र तक पहुंच गई। इसमें सुजानगढ़, बीदासर व सरदारशहर का क्षेत्र सबसे अधिक प्रभावित हुआ है।
अब तक राहत की बात यह रही कि रबी फसलों व खरीफ फसलों की बुआई के बीच का समय होने के कारण टिडि्डयों के दल ज्यादा नुकसान नहीं पहुंचा सके, लेकिन इनका संकट अभी भी बना हुआ है। कृषि विभाग उपनिदेशक प्रहलाद सैनी ने बताया कि आठ मई के बाद से टिडि्डयों के दल लगातार अंतराल में जिले के अलग-अलग स्थानों पर पहुंच रहे हैं। कृषि विभाग की टीम ने सरदारशहर, बीदासर, सुजानगढ़, रतनगढ़, तारानगर व चूरू में 47 स्थानों पर 3206 हैक्टेयर में नियंत्रण की कार्रवाई की है, इसमें 1423 हैक्टेयर कृषि व 1783 हैक्टेयर अकृषि शामिल है। सोमवार को राजलदेसर, सरदारशहर व सादुलपुर के कई क्षेत्रों में टिडि्डयां नजर आई। इसके अलावा बीकानेर व नागौर में भी कई दल सक्रिय है, जो हवाओं के साथ जिले का रूख कर सकते हैं।

बीदासर में 5050 हैक्टे. में टिड्‌डी दल ने पड़ाव डाला
टिडि्डयों ने अभी तक सबसे अधिक बीदासर में 5050 हैक्टेयर में पड़ाव डाला। इसके अलावा सुजानगढ़ में 3050, सरदारशहर में 1930, रतनगढ़ में 800, तारानगर में 600 व चूरू में 1400 हैक्टेयर में टिड्‌डी दल पहुंचा।

लाछड़सर में चार किमी लंबे टिड्‌डी दल ने डाला पड़ाव, कृषि विभाग की टीम ने 8 घंटे में पाया काबू
उपतहसील के गांव लाछड़सर की रोही में रविवार शाम आठ बजे शीतलनगर की तरफ से करीब 4 किमी लंबे व 3 किमी चौड़ाई में फैले टिड्डी दल ने 200 हैक्टेयर में पड़ाव डाला। सूचना पर रात 10 बजे कृषि विभाग की टीम पहुंची और रेस्क्यू की कार्रवाई शुरू की गई। टीम ने 8 घंटे तक कार्रवाई कर सुबह आठ बजे तक अधिकतर टिडि्डयों को समाप्त कर दिया।

पटवारी भगवानदास ने बताया कि सूचना पर टिड्डी नियंत्रण दल के लिए रेवेन्यू व कृषि विभाग की टीम ने संयुक्त कार्रवाई की। कृषि अधिकारी सुरेन्द्र मारु, सहायक कृषि अधिकारी सोहनलाल, कृषि पर्यवेक्षक नवलकिशोर शर्मा आदि ने मामराज सऊ, मोहनलाल सऊ, प्रभुराम सऊ, विनोद मीणा आदि के खेतों में अभियान चलाकर 200 हैक्टेयर में 10 ट्रेक्टर माउंटेन स्प्रे छिड़काव कर टिड्डी को समाप्त किया।

क्षेत्र में लगातार टिडिडयों के हमले से किसान परेशान हैं। कपास, मूंगफली तथा कई क्षेत्रों में बाजरे की फसल को भी टिडि्डयों से नुकसान पहुंचा है। रविवार को तीसरी बार टिड्‌डी दल ने ग्रामीण क्षेत्रों में दस्तक दी। गांव भूखरेड़ी, फ्रांसा, सुखलणिया, लधासर आदि में टिड्‌डी के दो दल दिखाई दिए। ग्रामीणों ने थाली बजाकर व पटाखे चलाकर टिडिडयों को भगाया।

सादुलपुर : 3 किमी लंबा व दो किमी चौड़ा टिड्‌डी दल आधा दर्जन गांवों से होकर पिलानी की तरफ बढ़ गया
झुंझुनूं जिले की सीमा से सटे तहसील के करीब आधा दर्जन गांवों से होकर सोमवार को टिड्‌डी दल पिलानी की तरफ बढ़ गया। टिड्‌डी दल आने की सूचना पर प्रशासनिक व कृषि अधिकारी हरकत में आए और टीम को क्षेत्रों के लिए भेजा। सहायक कृषि अधिकारी विजयपुरी ने बताया कि तीन किमी लंबा और दो किमी चौड़ा टिड्‌डी दल सोमवार सुबह नौ बजे चूरू के लोहसना क्षेत्र से केरलीबास व डाबली ढाणी पहुंचा।

बाद में नेशल, सुल्खनिया छोटा व बड़ा, डींगली, ठिमाऊ बड़ी व छोटी तथा थिरपाली होते हुए पिलानी की तरफ बढ़ गया। किसानों ने अपने खेतों में थाली, ढोल सहित अन्य ध्वनि यंत्र बजाकर टिड्‌डी दल को आगे भगाया। एसडीएम पंकज गढ़वाल ने बताया कि टिड्‌डी दल के झुंझुनूं जिला बॉर्डर पर स्थित गांवों में पहुंचने की सूचना मिलने पर वहां पर पर्याप्त व्यवस्था की गई है।



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रतनगढ़. खेत में पड़ाव डालती टिड्‌डी।
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